Ranchi : रिनपास की निदेशक जयति सिमलइ की मुश्किलें एक बार फिर बढ़ सकती हैं. मरीज की मौत से जुड़े मामले में पुलिस द्वारा कोर्ट में फाइनल फॉर्म दाखिल करने और फाइनल फॉर्म में जयति सिमलइ को क्लीन चिट दिए जाने के खिलाफ सोनू मुंडा ने कोर्ट का दरवाज़ा खटखटाया है. इस केस के सूचक सोनू मुंडा ने प्रोटेस्ट याचिका दाखिल की थी जिसे कोर्ट ने स्वीकार कर लिया है. अब कोर्ट इस प्रोटेस्ट याचिका पर कम्प्लेन केस की तरह सुनवाई करेगा. कोर्ट ने सोनू मुंडा को यह निर्देश दिया है कि इस केस से जुड़े सभी साक्ष्य अदालत के समक्ष जमा करे. कांके के रहने वाले सोनू मुंडा ने अधिवक्ता ईशान रोहन तिवारी के माध्यम से फाइनल फॉर्म के विरुद्ध प्रोटेस्ट याचिका दाखिल की है.
पुलिस ने अनुसंधान पूरा कर कोर्ट में फाइनल रिपोर्ट जमा कर दी
बता दें कि रिनपास में इलाजरत महिला मरीज की मृत्यु के मामले में पुलिस ने अपना अनुसंधान पूरा कर कोर्ट में फाइनल रिपोर्ट जमा कर दी है. जिसके बाद अदालत ने इस केस के कम्प्लेनेंट को नोटिस जारी कर पक्ष रखने का निर्देश दिया था. जो रिपोर्ट कोर्ट में सौंपी गई है उसमें पुलिस ने रिनपास की डायरेक्टर जयति सिमलइ को क्लीनचिट दे दी है. कांके थाना के एस आई संतोष कुमार इस केस के जांच अधिकारी है. पुलिस ने अब तक इस केस से जुड़े कुल 7 गवाहों का बयान लिया है. जिसमें केस करने वाले सोनू मुंडा, तत्कालीन निदेशक सुभाष सोरेन, रिनपास की मेट्रोन रेनू डे, वार्ड प्रभारी निर्मला टोप्पो, नर्स अर्चना कुमारी और चिकित्सा पदाधिकारी लावण्या एक्का के द्वारा दी गई गवाही के आधार पर जयति सिमलई को क्लीनचिट दी गई है.
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